Breaking News
uu

उद्योगों को आकर्षित करने औद्योगिक नीति में किए गए संशोधन : सीएम बघेल

-इस्पात उद्योगों के लिए विशेष प्रोत्साहन पैकेज

-अनुसूचित जाति, जनजाति वर्ग के उद्यमियों के लिए विशेष औद्योगिक निवेश प्रोत्साहन पैकेज

uu

रायपुर(जनसम्पर्क विभाग) । छत्तीसगढ़ राज्य के औद्योगिक विकास को गति देने समावेशी विकास के लक्ष्य को हासिल करने और परिपक्व अर्थव्यवस्था का निर्माण करने के लिए नवीन औद्योगिक नीति में 2019-24 में कुल 21 बिन्दुओं पर संशोधन अधिसूचित किए गए हैं। इसमें प्रमुख रूप से लघु उद्योगों को कैपिटल सबसिडी में नगद या जी.एस.टी की पूर्ति का विकल्प होगा। अभी तक यह नगद अनुदान की सूक्ष्म उद्योगों के लिए पात्रता थी। शासन ने विभिन्न औद्योगिक संगठनों की मांगों को स्वीकार करते हुए लघु एवं मध्यम श्रेणी के उद्योगों को नगद या जी.एस.टी में अनुदान देने का निर्णय लिया है। अनूसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति श्रेणी के उद्यमियों के लिए विशेष औद्योगिक निवेश प्रोत्साहन पैकेज की घोषणा की गयी है। इसके तहत पिछली औद्योगिक नीतियों से अधिक लाभ दिया जाएगा। पुराने उद्योगों के विस्तार पर भी नए उद्योगों की तरह सरकार प्रोत्साहन देगी। उद्योगों को अब राज्य से अन्य देशों से निर्यात करने के लिए परिवहन में पैसा लगता था। उसमें सरकार परिवहन लागत में अनुदान देगी। इसके तहत प्रतिवर्ष 20 लाख रूपए का अनुदान सरकार देगी। 

  मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के नेतृत्व में राज्य सरकार द्वारा नई औद्योगिक नीति में एमएसएमई को पृथक रूप से परिभाषित किया गया है तथा वृहद सेवा उद्यम की परिभाषा भी जारी की गई। निवेशकों की मांग अनुसार स्थायी पूंजी निवेश अनुदान को सूक्ष्म उद्योगों तक सीमित न कर लघु व मध्यम श्रेणी के उद्योगों के लिए भी प्रावधानित किया गया। विद्यमान उद्योगों के विस्तार करने पर स्थायी पूंजी निवेश की गणना अवधि को भी बढ़ा दिया गया है। राज्य के उद्योगों की रीढ़ इस्पात क्षेत्र को बढ़ावा देने मेगा, अल्ट्रामेगा उद्योगों के लिए ठम ैचवाम च्वसपबल के तहत विशेष प्रोत्साहन पैकेज की घोषणा की गई है। ये वो इकाईयां होगी जो राज्य शासन के साथ एम.ओ.यू. निष्पादित करेंगे।

    उद्योगों में नवीन विचारधारा को समहित करने तथा नव रोजगार सृजित करने छत्तीसगढ़ राज्य स्टार्ट-अप पैकेज को नीति में स्थान दिया गया है। इन स्टार्ट-अप्स को अन्य उद्योगों से अधिक सुविधाएं कम औपचारिकता के साथ प्रदान की जाएगी।    समावेशी विकास को बढ़ावा देने के लिए अनुसूचित जाति/जनजाति वर्ग के उद्यमियों के लिए विशेष औद्योगिक निवेश प्रोत्साहन पैकेज जारी किया गया है। इसके तहत अनुसूचित जाति/जनजाति वर्ग के उद्यमियों को पूर्व की सुविधाओं से अधिक लाभ प्राप्त होगा।

    कोर सेक्टर के माध्यम, वृहद, मेगा, अल्ट्रामेगा उद्योगों को अब किसी भी श्रेणी के स्थान में उद्योग स्थापित करने पर विद्युत शुल्क में पूर्ण छूट प्रदान की जाएगी। अब परिवहन अनुदान हेतु इकाई का शत्-प्रतिशत निर्यातक होना आवश्यक नहीं रह गया है।    सामान्य वर्ग के उद्यमियों द्वारा स्थापित किए जाने वाले पात्र सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योगों को उद्योग विभाग/सीएसआईडीसी के औद्योगिक क्षेत्रों में भू-आबंटन पर भू-प्रीमियन प्रदान किया जाएगा। उद्यमियों द्वारा बहुप्रतीक्षित भूमि हस्तांतरण शुल्क में कमी कर दी गयी है। साथ ही उत्पादन प्रारंभ करने की अधिकतम सीमा में भी वृद्धि की गई है।

 

 

    रायपुर, 23 अक्टूबर 2020

छत्तीसगढ़ राज्य के औद्योगिक विकास को गति देने समावेशी विकास के लक्ष्य को हासिल करने और परिपक्व अर्थव्यवस्था का निर्माण करने के लिए नवीन औद्योगिक नीति में 2019-24 में कुल 21 बिन्दुओं पर संशोधन अधिसूचित किए गए हैं। इसमें प्रमुख रूप से लघु उद्योगों को कैपिटल सबसिडी में नगद या जी.एस.टी की पूर्ति का विकल्प होगा। अभी तक यह नगद अनुदान की सूक्ष्म उद्योगों के लिए पात्रता थी। शासन ने विभिन्न औद्योगिक संगठनों की मांगों को स्वीकार करते हुए लघु एवं मध्यम श्रेणी के उद्योगों को नगद या जी.एस.टी में अनुदान देने का निर्णय लिया है। अनूसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति श्रेणी के उद्यमियों के लिए विशेष औद्योगिक निवेश प्रोत्साहन पैकेज की घोषणा की गयी है। इसके तहत पिछली औद्योगिक नीतियों से अधिक लाभ दिया जाएगा। पुराने उद्योगों के विस्तार पर भी नए उद्योगों की तरह सरकार प्रोत्साहन देगी। उद्योगों को अब राज्य से अन्य देशों से निर्यात करने के लिए परिवहन में पैसा लगता था। उसमें सरकार परिवहन लागत में अनुदान देगी। इसके तहत प्रतिवर्ष 20 लाख रूपए का अनुदान सरकार देगी।
    मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के नेतृत्व में राज्य सरकार द्वारा नई औद्योगिक नीति में एमएसएमई को पृथक रूप से परिभाषित किया गया है तथा वृहद सेवा उद्यम की परिभाषा भी जारी की गई। निवेशकों की मांग अनुसार स्थायी पूंजी निवेश अनुदान को सूक्ष्म उद्योगों तक सीमित न कर लघु व मध्यम श्रेणी के उद्योगों के लिए भी प्रावधानित किया गया। विद्यमान उद्योगों के विस्तार करने पर स्थायी पूंजी निवेश की गणना अवधि को भी बढ़ा दिया गया है। राज्य के उद्योगों की रीढ़ इस्पात क्षेत्र को बढ़ावा देने मेगा, अल्ट्रामेगा उद्योगों के लिए ठम ैचवाम च्वसपबल के तहत विशेष प्रोत्साहन पैकेज की घोषणा की गई है। ये वो इकाईयां होगी जो राज्य शासन के साथ एम.ओ.यू. निष्पादित करेंगे।
    उद्योगों में नवीन विचारधारा को समहित करने तथा नव रोजगार सृजित करने छत्तीसगढ़ राज्य स्टार्ट-अप पैकेज को नीति में स्थान दिया गया है। इन स्टार्ट-अप्स को अन्य उद्योगों से अधिक सुविधाएं कम औपचारिकता के साथ प्रदान की जाएगी।    समावेशी विकास को बढ़ावा देने के लिए अनुसूचित जाति/जनजाति वर्ग के उद्यमियों के लिए विशेष औद्योगिक निवेश प्रोत्साहन पैकेज जारी किया गया है। इसके तहत अनुसूचित जाति/जनजाति वर्ग के उद्यमियों को पूर्व की सुविधाओं से अधिक लाभ प्राप्त होगा।
    कोर सेक्टर के माध्यम, वृहद, मेगा, अल्ट्रामेगा उद्योगों को अब किसी भी श्रेणी के स्थान में उद्योग स्थापित करने पर विद्युत शुल्क में पूर्ण छूट प्रदान की जाएगी। अब परिवहन अनुदान हेतु इकाई का शत्-प्रतिशत निर्यातक होना आवश्यक नहीं रह गया है।    सामान्य वर्ग के उद्यमियों द्वारा स्थापित किए जाने वाले पात्र सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योगों को उद्योग विभाग/सीएसआईडीसी के औद्योगिक क्षेत्रों में भू-आबंटन पर भू-प्रीमियन प्रदान किया जाएगा। उद्यमियों द्वारा बहुप्रतीक्षित भूमि हस्तांतरण शुल्क में कमी कर दी गयी है। साथ ही उत्पादन प्रारंभ करने की अधिकतम सीमा में भी वृद्धि की गई है।

Check Also

Chhattisgarh में आत्महत्या: दुर्ग जिले में आत्महत्या के मामले लगातार बढ़ रहे हैं, अब दो लोग और मारे

दुर्ग के कातुलबोर्ड थाना क्षेत्र के निवासी प्रतीक साहू ने अपने घर में फांसी लगाकर …

One comment

  1. Your article has perfectly captured the essence of this beautiful Monday. The depth of information is impressive. Perhaps adding more visuals in future posts could make the experience even more enjoyable for readers.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *